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*गीडा की फैक्ट्री में भीषण हादसा: बॉयलर फटने से आठ मजदूर घायल, तीन की हालत गंभीर*

गोरखपुर के गीडा औद्योगिक क्षेत्र में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब एक टॉफी और रस्क बनाने वाली फैक्ट्री में बॉयलर फट गया। हादसा शाम करीब पांच बजे हुआ, जब मजदूर रोज़ की तरह अपने कार्य में लगे थे। अचानक तेज धमाके के साथ फैक्ट्री की दीवारें कांप उठीं, और धमाके की आवाज कई किलोमीटर दूर तक सुनी गई। बॉयलर विस्फोट में आठ मजदूर घायल हो गए, जिनमें तीन की हालत गंभीर बताई जा रही है। सभी घायलों को एंबुलेंस से तत्काल बाबा राघव दास मेडिकल कॉलेज भेजा गया, जहां उनका इलाज चल रहा है।

धमाका इतना जोरदार था कि फैक्ट्री परिसर में अफरा-तफरी मच गई। कुछ लोग दौड़कर बाहर निकले, तो कुछ को सहकर्मियों ने बाहर निकाला। फैक्ट्री कर्मियों ने त्वरित राहत कार्य शुरू किया और पुलिस को सूचना दी। प्रशासन की टीम मौके पर पहुंचकर जांच में जुट गई है। अधिकारियों ने फैक्ट्री के भीतर सुरक्षा मानकों और बॉयलर से जुड़े सभी पहलुओं की गहन जांच के निर्देश दिए हैं।

विशेषज्ञों के अनुसार, बॉयलर विस्फोट के पीछे कई संभावित कारण हो सकते हैं—जैसे बॉयलर में पानी का कम स्तर, सुरक्षा वाल्व का अटक जाना, अत्यधिक तापमान, या ढीले बोल्ट। गाजियाबाद के भोजपुर में मार्च 2025 में इसी तरह की घटना हुई थी, जहां बोल्ट समय से ठीक नहीं किए जाने के कारण बॉयलर फट गया था और तीन मजदूरों की जान चली गई थी।

प्रशासन ने फैक्ट्री प्रबंधन से प्रारंभिक रिपोर्ट मांगी है और यह भी जांच की जा रही है कि क्या बॉयलर के रखरखाव में कोई लापरवाही बरती गई। औद्योगिक क्षेत्रों में इस प्रकार की घटनाएं सुरक्षा मानकों की अनदेखी का गंभीर संकेत देती हैं। इस हादसे ने न केवल मजदूरों की सुरक्षा पर सवाल उठाए हैं, बल्कि औद्योगिक प्रशासन की निगरानी प्रणाली पर भी चिंता जताई है। फिलहाल फैक्ट्री में कामकाज रोक दिया गया है और विशेषज्ञ टीम विस्तृत जांच कर रही है।


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